डायरिया के लक्षण और उपाय

हम जानेंगे के डेरिया क्या है? और इसके मुख्य लक्षण और कारण क्या-क्या हो सकते हैं। डायरिया के लक्षण और उपाय

डायरिया रोग बच्चों में बहुत ज्यादा फैलने वाला रोग होता है, लेकिन कुछ स्थितियों में यह रोग बड़े व्यक्तियों को भी हो सकता है। जब कोई व्यक्ति मौसम के अनुसार भोजन संबंधित नियमों का पालन नहीं करता है तो उसके पाचन अंगों की कार्य शैली प्रभावित हो सकती है उसे व्यक्ति को डायरिया रोग हो सकता है। सर्दी के मौसम में शरीर के सभी अंगों की मांसपेशियां सिकुड़ जाती है। जिसकी कारण व्यक्ति को कब्ज रोग हो सकता है। इस प्रकार बरसात के मौसम में तथा गर्मी के मौसम में भी स्वास्थ्य व्यक्ति को डायरिया रोग हो सकता है।

डायरिया के लक्षण और उपाय

डायरिया रोग होने के लक्षण:

इस रोग में पीड़ित रोगी को दस्त होने लगते हैं तथा इसके शरीर में पानी की कमी हो जाती है। इस कारण से व्यक्ति को अपने शरीर में अधिक कमजोरी और थकावट महसूस होती है। डायरिया रोग के रोगी को उल्टियां या शरीर में बेचैनी लगती है।

  • पानी का मल पतला मल आता है
  • अत्यधिक मतली आता है
  • पेट में दर्द वह सूजन होना
  • शरीर में पानी कमी होता है
  • बार - बार बुखार आना
  • मल के साथ खून आना
  • बदहजमी की शिकायत होना
  • भूख में कमी आना
  • पेट में ऐंठन होना
  • काभी - कभी मतली के साथ उल्टी होना


डायरिया रोग होने होने के कारण:

जीवाणुओं या कीटाणुओं द्वारा संक्रमित होने पर या बड़ी आंतों मैं खुद सूजन तथा गांव होने पर या फिर अन्य किसी बीमारी का उपचार करने के लिए शक्तिशाली एंटीबायोटिक्स दवाइयां लेने के कारण से व्यक्ति को डायरिया रोग हो जाता है।


  • भोजन के प्रति उदासीन रुक अपने के कारण भी डायरिया रोग हो सकता है।
  • हमारी आंतों में पानी को रोकने की क्षमता एक सीमा तक रहती है। जब इस क्षमता से अधिक पानी आंतों में पहुंचता है तो आते पानी को रोक नहीं पाती है जिस कारण व्यक्ति को डायरिया रोग हो जाता है।
  • किसी भोजन को करने से एलर्जी होने की वजह से डायरिया रोग हो जाता है।
  • आंतों में कार्बोहाइड्रेटस के ठीक तरह से ना बचाने तथा इसके पेट में पड़े पड़े सड़ने के कारण भी डायरिया रोग की उत्पत्ति हो जाती है।
  • अधिक समय तक उत्तेजक दवाइयां का सेवन करने के कारण भी व्यक्ति को डायरिया रोग हो जाता है।
  • जरूरत से ज्यादा भोजन करने, ठीक समय पर भोजन न करने, मानसिक परेशानियों दर तथा चिंता के कारण भी डायरिया रोग हो सकता है।
  • कोई भी बरसात के दिनों में अधिक रस युक्त फलों तथा सब्जियों का सेवन करने के कारण भी डायरिया रोग हो सकते है।
  • अधिक वसायुक्त भोजन, मसालेदार भोजन, डिब्बा बंद बनावटी भोजन तथा आंतो मैं जलन पैदा करने वाला भोजन करना भी डायरिया रोग होने का कारण होता है।
  • किसी रोग के कारण आंतो के ठीक प्रकार से कम न करने के कारण भी डायरिया रोग हो जाता है।
  • गर्मियों के दिनों में शरीर से पसीना ना निकलने के कारण भी डायरिया रोग हो सकता है क्योंकि पसीना आने से शरीर की गंदगी बाहर निकलती है। जब यह शरीर से बाहर नहीं निकलती है तो इससे शरीर में जमा होने के कारण व्यक्ति को डायरिया रोग हो जाता है।


डायरिया रोग का प्राकृतिक चिकित्सा से उपचार:

  • दरिया से पीड़ित रोगी को सबसे पहले डायरिया रोग होने के कर्म को दूर करना चाहिए फिर इसके बाद प्राकृतिक चिकित्सा से इस रोग का उपचार करना चाहिए।
  • यदि रोगी व्यक्ति को बार-बार दस्त हो रहा है तो उसे दस्त रोकने वाली दवाई नहीं खानी चाहिए नहीं तो रोग की स्थिति और भी गंभीर हो सकता है।
  • इस रोग से पीड़ित रोगी को सुबह के समय बिस्तर से उठने के बाद कटीस्नान करना चाहिए तथा इसके बाद पेट पर ठंडी सिकाई करनी चाहिए।
  • रोगी व्यक्ति को दिन में कई बार बारी-बारी से ठंडा तथा गर्म पानी से स्नान करना चाहिए।
  • कोई भी रोगी व्यक्ति को अपने पेट की सफाई करने के लिए एनिमा क्रिया करनी चाहिए तथा दिन में नींबू का रस पानी में मिलाकर पीते रहना चाहिए।
  • डायरिया रोग से पीड़ित रोगी को भोजन करने के बाद सबसे पहले सीधे करवट लेकर लेटना चाहिए वह इसके बाद कम से कम 8 बार गहरी सांस लेनी चाहिए।
  • बाद में सीधा लेटना चाहिए तथा कम से कम 15 बार गहरी गहरी सांस लेनी चाहिए और फिर भाई करवट लेकर 30 बार गहरी गहरी सांस लेनी चाहिए इस प्रकार से दिन में कई बार व्यायाम करने के साथ-साथ सांस लेने की क्रिया करने से डायरिया रोग बहोत जल्द ठीक हो जाते है।
  • डायरिया रोग को ठीक करने के लिए कई प्रकार के आसन तथा यौगिक क्रियाएं भी शामिल हैं जिन को कुछ दिनों तक लगातार करने से डायरिया रोग ठीक हो जाते हैं।
  • यह आसन तथा यौगिक क्रियाएं इस प्रकार है – पद्यसन, पर्वतासन, पवन मुत्तासन, वज्रासन, भूंजगासन, धनुरासन, मत्स्यासन, तथा योग मुद्रा आदि।
  • जब हम कुछ दिनों तक लगातार सुबह के समय में सांस लेने वाले प्राणायाम करने से डायरिया रोग ठीक हो जाता है।
  • डायरिया रोग से पीड़ित रोगी को सुबह के समय में एक गिलास संतरे का रस पीना चाहिए।
  • डायरिया रोग से पीड़ित रोगी को सुबह के समय में एक गिलास सब का रस पीना चाहिए तथा इसके बाद एक गिलास गुनगुना पानी पीना चाहिए। डायरिया रोग जल्दी ठीक हो जाता है।
  • दरिया रोग से पीड़ित रोगी को अपनी नाभि के ऊपर तथा चारों तरफ सरसों का तेल लगाना चाहिए इससे रोगी व्यक्ति को बहुत लाभ मिलता है।
  • नींबू के रस के साथ सौंफ का सेवन करने तथा इसके बाद भोजन करने से डायरिया रोग से पीड़ित रोगी को बहुत अधिक लाभ मिलता है।
  • जब यह रोग 1 दिन में ठीक ना हो तो तथा दस्त मैं मल का निकलना बंद हो जाए या सिर्फ पानी ही निकलता रहे तो रोगी व्यक्ति को फलों का रस जैसे अनार का रस अधिक मात्रा में पीना चाहिए या फिर माथे में थोड़ा सा नमक डालकर सेवन करना चाहिए।
  • इस रोग से पीड़ित रोगी को दिन में कम से कम तीन-चार बार केले का सेवन करना चाहिए क्योंकि केले शरीर से निकले हुए द्रव्यों की पूर्ति करता है केले की सेवन से डायरिया रोग जल्द ही ठीक हो जाता है।
  • यदि डायरिया रोग से पीड़ित रोगी को उल्टियां होने लगे उसे गाजर का रस थोड़ा सा गर्म करके एक-एक घंटे के बाद पीते रहना चाहिए। इसे आंतों में बैक्टीरिया की उत्पत्ति रुक जाती है और उल्टियां भी बंद हो जाती है।
  • डायरिया रोग से पीड़ित रोगी को यह ध्यान रखना चाहिए कि वह जो भी चीजों का सेवन करें वह ना तो ज्यादा गर्म हो और ना ही ज्यादा ठंडी।
  • डायरिया रोग से पीड़ित रोगी को कुछ दिनों तक 2 किलो को कुचल कर एक कप दही में मिलाकर सेवन करने से लाभ मिलता है।
  • अमरूद की कुछ कोमल पत्तियों को पानी में काम से कम 5 मिनट तक उबालकर इसका काढ़ा बनाकर दिन में तीन से चार बार पीने से यह रोग जल्दी ही ठीक हो जाता है।
  • एक गिलास दही में एक चम्मच शहद मिलाकर दिन में दिन से चार बार सेवन करने से डायरिया रोग ठीक हो जाता है।
  • तुलसी के पत्तों को दिन में कम से कम चार बार चबाने से डायरिया रोग ठीक हो जाता है।
  • 1 लीटर पानी को उबालकर ठंडा कर ली तथा उसमें आठ चम्मच चीनी तथा एक चम्मच नमक मिलाकर घोल बना लें। इस गोल को रोगी व्यक्ति को थोड़े-थोड़े समय बाद पिलाने से डायरिया रोग ठीक हो जाता है।


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FAQ:

दस्त की सिरप कौन सी है ?

दस्त की सिरप मुख्य रूप से डेअगोन सिरप एक कॉम्प्लिकेशन दवा है।

दस्तक की गोली का क्या नाम है ?

दस्त की गोली इस्तेमाल की जाने मे नॉरफ्लाक्स– टीजेड टैबलेट दवाइयां का एक कॉन्बिनेशन है।

डायरिया किसकी वजह से होता है ?

डायरिया होने का कई कारण है जैसे फ्रूट प्वाइजनिंग या एलर्जी दवाइयां के सेवन आदि की वजह से हो सकती है।

डायरिया में क्या खाया जा सकता है ?

डायरिया मुख्य रूप से मूंग दाल की खिचड़ी दलिया आदि का सेवन कर सकते हैं।

क्या डायरिया में रोटी खा सकते हैं ?

डायरिया में मुख्य रूप से रोटी का सेवन कर सकते हैं जिसमें रिफाइंड सफेद आटे से बने ब्रेड उत्पादन खाएं।

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